प्राचीन समय से ही पुण्य बढ़ाने और किस्मत चमकाने के लिए कई परंपरागत उपाय प्रचलित हैं। इन उपायों में से कुछ उपाय हर रोज किए जाने वाले हैं। इनके चमत्कार से व्यक्ति सदैव धनी और सुखी बना रहता है। यहां ऐसा ही एक चमत्कारी उपाय बताया जा रहा है जो बहुत ही सरल है और इसे हर रोज किया जाना चाहिए। यदि आप ये उपाय रोज नहीं कर सकते हैं तो जब भी आपको समय मिले यह उपाय किया जा सकता है। यह उपाय अपने घर पर ही या घर के आसपास भी किया जा सकता है।
सर्वाधिक प्रचलित उपायों में से एक उपाय है देवी-देवताओं को जल अर्पित करना। यदि आपके घर के आसपास कोई मंदिर नहीं है या आप मंदिर जा नहीं पाते हैं तो घर के मंदिर में इष्टदेवी-देवताओं की मूर्तियों पर जल अर्पित किया जा सकता है। देवी-देवताओं पर जल चढ़ाने के साथ ही यदि आप यहां बताया जा रहा एक लोटे पानी का परंपरागत उपाय करेंगे तो आपकी कुंडली के सभी दोषों का निवारण हो जाएगा। भाग्योदय में आ रही बाधाएं दूर हो जाएंगी। धन संबंधी परेशानियां समाप्त हो जाएंगी...
ज्योतिष के अनुसार सभी ग्रहों के अलग-अलग वृक्ष बताए गए हैं। इन वृक्षों की विधि-विधान से पूजा करने पर कुंडली में स्थित सभी नौ ग्रहों के दोष दूर होते हैं। यदि आप विधिवत पूजा नहीं करवा पा रहे हैं तो प्रतिदिन केवल एक लोटा जल अपनी राशि से संबंधित वृक्ष में चढ़ाएं। ऐसा करने पर भी आपको सकारात्मक फल प्राप्त होंगे। जल चढ़ाने के लिए तांबे के लोटे का इस्तेमाल करना चाहिए।
पेड़ों का हमारे जीवन में सर्वाधिक प्रभाव पड़ता है। साथ ही पेड़ों से ही पूरा वातावरण संतुलित रहता है। सही बारिश, सही तापमान सभी पेड़ों की स्थिति पर ही निर्भर है। इसी वजह से शास्त्र में पेड़ों की रक्षा करना सभी का कर्तव्य बताया गया है। ज्योतिष में भी बहुत से ग्रह संबंधी उपाय पेड़ों से ही जुड़े हुए हैं।
मेष एवं वृश्चिक- खैर
वृषभ एवं तुला- गूलर
मिथुन एवं कन्या- अपामार्ग
कर्क- पलाश
सिंह- आंकड़े का पौधा
धनु एवं मीन- पीपल
मकर एवं कुंभ- शमी
इन्हीं पेड़ों की लकड़ियों से संबंधित राशियों के ग्रह स्वामी की शांति हेतु हवन भी किया जाता है।
पेड़ों की पूजा या जल अर्पित करने से एक ओर तो हमारी कई समस्याएं दूर होती हैं, वहीं दूसरी ओर यह हरियाली के लिए भी फायदेमंद है। पेड़ों की रक्षा के लिए पेड़ों में जल चढ़ाने की परंपरा बनाई गई है ताकि धर्म के नाम पर लोग पेड़ों को जल अर्पित करें और उनकी रक्षा होती रहे।
सभी वृक्षों का अपना अलग महत्व है, लेकिन कुछ वृक्ष ऐसे है जिनका शास्त्रों में काफी महत्व बताया गया है। ऐसा माना जाता है कि पीपल में जल अर्पित करने से सभी प्रकार के ग्रह दोष दूर हो जाते हैं और अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है। इसके अलावा अन्य वृक्ष जैसे नीम, बरगद, बेलपत्र, अशोक, चंदन, आम आदि की भी पूजा की जाती है या इनके फल, पत्ते, तने को पूजा में शामिल किया जाता है।
पीपल में जल चढ़ाने से शनि की साढ़ेसाती या ढय्या में बहुत जल्द लाभ प्राप्त होता है, कालसर्प दोष का प्रभाव भी कम होता है। जिन लोगों का भाग्य साथ नहीं देता उन्हें पीपल में प्रतिदिन जल चढ़ाकर, सात परिक्रमा करनी चाहिए। इससे कुछ ही दिनों में व्यक्ति को भाग्य का साथ अवश्य मिलने लगेगा।
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